नई दिल्ली: भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने आईबीए के अनुरोध के बाद, बैंकों को पारिवारिक पेंशन (Family Pension) में संशोधन के कारण अतिरिक्त लायबिलिटी का 2021-22 से शुरू होने वाले 5 वर्षों में रिवीजन करने की अनुमति दी. आरबीआई (RBI) ने कहा कि बैंकों को इस संबंध में वित्तीय विवरणों के लिए अपनाई जाने वाली लेखा नीति का खुलासा करना होगा.
ये छूट भारतीय बैंक संघ (आईबीए) के अनुरोध के बाद दी गई. इसमें बताया गया है कि कुछ बैंकों के लिए एक वर्ष में फैमिली पेंशन में संशोधन के संबंध में बड़ी मात्रा में लायबिलिटी का इंतजाम करना मुश्किल होगा.
नियमों में किया संशोधन
बैंकों के कर्मचारियों की पारिवारिक पेंशन को 11 नवंबर, 2020 के 11वें द्विपक्षीय निपटान और ज्वाइंट नोट के हिस्से के रूप में संशोधित किया गया था. आरबीआई ने बताया कि मुद्दों की नियामक दृष्टिकोण से जांच की गई थी और एक असाधारण मामले के रूप में, यह फैसला लिया गया है कि उपरोक्त निपटान के तहत आने वाले बैंक मामले में कई बड़े कार्रवाई कर सकते हैं.
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बैंक कर्मचारियों की फैमिली पेंशन में बढ़ोतरी
गौरतलब है कि अगस्त महीने में सरकार ने बैंक कर्मचारियों की फैमिली पेंशन को 30 फीसदी बढ़ोतरी का ऐलान किया था. यानी इसके बाद, पिछली पेंशन की अपेक्षा अब कर्मचारियों को 30 परसेंट ज्यादा फैमिली पेंशन मिला करेगी. आपको बता दें कि फैमिली पेंशन बढ़ाने की मांग लंबे दिनों से की जा रही थी. इंडियन बैंकिंग एसोसिएशन ने सरकार के सामने एक प्रस्ताव रखा था जिसमें इसकी डिमांड रखी गई थी जिसे मान लिया गया है. इस फैसले के बाद, बैंक कर्मचारी की जितनी अंतिम सैलरी थी, उससे 30 परसेंट बढ़ाकर फैमिली पेंशन के रूप में मिलेगी.
सरकार के इस कदम से बैंक कर्मचारी के प्रति परिवार को 30,000 रुपये से 35,000 रुपये ज्यादा का फायदा होगा. यानी एक परिवार को जो पहले फैमिली पेंशन मिला करती थी, उसमें 30-35 हजार रुपये का इजाफा होगा.